Sun. Apr 28th, 2024

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रोड शो में गिरा स्वागत मंच, 4 को फैक्चर, एक बच्ची समेत 3 महिला घायल

जबलपुर में प्रधानमंत्री के रोड शो के दौरान स्वागत मंच पर उसकी क्षमता से अधिक लोग खड़े होने के कारण मंच टूट गया, जिससे एक बच्ची- पुलिसकर्मी घायल हो गए।

चुनाव का बिगुल बजते ही है पार्टियां प्रचार प्रसार करने में जुट गई हैं इस सिलसिले में MP के जबलपुर पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रोड शो में बड़ा हादसा हो गया। पीएम के स्वागत के लिए बने मंच पर क्षमता से अधिक लोगों के चढ़ने से मंच टूट गया जिसके चलते मोदी का स्वागत करने पहुँची एक बच्ची समेत 6 लोग घायल हो गए सभी घायलों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया।

7 घायलों में से 4 को फैक्चर

मंच टूटने से 7 घायलों में से 4 को फैक्चर बताया है, वहीं इस हादसे का शिकार हुई बच्ची को मप्र के कैबिनेट मंत्री राकेश सिंह खुद अस्पताल लेकर पहुंचे थे। मोदी ने भी फ़ोन कर सभी घायलों का एक-एक कर हाल जाना।

जबलपुर से भाजपा प्रत्याशी के समर्थन में था रोड शो

आचार संहिता लागू होने के बाद पहली बार प्रचार करने मप्र पहुँचे नरेंद्र मोदी ने जबलपुर से भाजपा के प्रत्याशी आशीष अग्रवाल के समर्थन में रोड शो किया। मोदी के रोड शो के लिए कार्यकर्तओं का जनसैलाब उमड़ पड़ा।

क्या लोकसभा चुनाव लड़ने में नेताओं की दिलचस्पी नहीं?जानिए क्यों हो रहा कांग्रेस की दूसरी लिस्ट आने में विलंब

आगामी लोकसभा के चुनाव के लिए नामांकन पत्र भरे जाने का क्रम शुरू हो गया है, लेकिन कांग्रेस अब तक सभी सीटों के लिए उम्मीदवारों के नाम तय नहीं कर पाई है। बड़ी वजह पार्टी के भीतर दिग्गज नेताओं को चुनाव लड़ाने को लेकर छिड़ा संग्राम है बताया जा रहा है। राज्य में लोकसभा की 29 सीटें हैं, जिनमें से कांग्रेस को 28 पर उम्मीदवार तय करना है। एक खजुराहो संसदीय सीट आपसी समझौते में समाजवादी पार्टी को दी गई है इन 28 सीटों में से कांग्रेस 10 पर ही उम्मीदवार तय कर पाई है और उसे अभी 18 सीटों पर उम्मीदवारों के नाम का फैसला करना है।

लोकसभा चुनाव लड़ने में नेताओं की दिलचस्पी नहीं

सूत्रों की मानें तो कांग्रेस के पास जमीनी स्तर से जो फीडबैक आया है उसके मुताबिक, दिग्गज नेता दिग्विजय सिंह, अजय सिंह, अरुण यादव, उमंग सिंघार, जयवर्धन सिंह, प्रियव्रत सिंह, जीतू पटवारी, विवेक तंखा जैसे नेताओं के चुनाव लड़ाने की बात कही गई है। वहीं इन नेताओं में से कई ऐसे हैं जो कह चुके हैं कि लोकसभा चुनाव लड़ने में उनकी दिलचस्पी नहीं है। कांग्रेस के अंदर दिग्गज नेताओं को चुनाव लड़ाने को लेकर चल रहे मंथन और दिग्गजों द्वारा चुनाव लड़ने में की जा रही आनाकानी के चलते ही उम्मीदवारों की सूची को अंतिम रूप नहीं दिया जा सका है। खबरें हैं कि कई वरिष्ठ नेता लोकसभा चुनाव लड़ने में दिलचस्पी नहीं दिखा रहे हैं।

कुछ विधायकों को भी मैदान में उतारा जा सकता है

कांग्रेस कुछ विधायकों को भी मैदान में उतारने का मन बना रही है। संभावना इस बात की भी जताई जा रही है कि कांग्रेस हाई कमान दिग्गज नेताओं से सीधे बात करेगा और उसके बाद ही केंद्रीय चुनाव समिति की अगली बैठक में नामों पर मुहर लगा सकती है।

लोकसभा चुनाव का बजा बिगुल, जानिए आपके गांव और शहर में कब डलेगें वोट

लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है। इस साल लोकसभा चुनाव की शुरुआत 19 अप्रैल से होगी। जो 7 चरण में 1 जून तक होगें। चुनाव के नतीजे 4 जून को आएंगे। चुनाव के ऐलान के साथ ही पूरे देश में आचार संहिता लग गई है। वही मप्र में भी 4 चरणों में चुनाव होगें। जिसमें पहला चरण 19 अप्रैल, दूसरे चरण 26 अप्रैल, तीसरे चरण 7 मई और चौथे चरण 13 मई को संपन्न होगा।

पूरे प्रदेश में लगी आचार संहिता

प्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अनुपम राजन ने कहा है कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा लोकसभा निर्वाचन 2024 की तारीखों की शनिवार को घोषणा कर दी गई है। इसके साथ ही प्रदेश में आदर्श आचार संहिता भी पूरी तरह से प्रभावशील हो गई है। इसका सख्ती से पालन कराया जाएगा। राजन ने बताया कि प्रदेश में चार चरणों में चुनाव प्रक्रिया संपन्न होगी।

पहले चरण के लिए मतदान 19 अप्रैल, दूसरे चरण के लिए 26 अप्रैल, तीसरे चरण के लिए 7 मई और चौथे चरण के लिए मतदान प्रक्रिया 13 मई को संपन्न होगी। मतगणना 4 जून 2024 को होगी।

पहले चरण में इन सीटों पर

राजन ने बताया कि पहले चरण में छह लोकसभा संसदीय क्षेत्रों सीधी, शहडोल, जबलपुर, मंडला, बालाघाट एवं छिंदवाड़ा में 19 अप्रैल 2024 को मतदान होगा। पहले चरण के लिए अधिसूचना 20 मार्च को जारी होगी। इसी दिन से नामांकन पत्र दाखिल किए जाएंगे। नामांकन पत्र दाखिल करने की अंतिम तिथि 27 मार्च है। 28 मार्च को नामांकन पत्रों की स्क्रूटनी की जाएगी। प्रत्याशी 30 मार्च तक अपने नाम वापस ले सकेंगे। 

26 अप्रैल को इन सीटों पर वोटिंग

दूसरे चरण में 7 लोकसभा संसदीय क्षेत्रों टीकमगढ़, दमोह, खजुराहो, सतना, रीवा, होशंगाबाद एवं बैतूल में 26 अप्रैल 2024 को मतदान होगा। इस चरण के लिए अधिसूचना 28 मार्च को जारी होगी। इसी दिन से नामांकन पत्र दाखिल किए जाएंगे। नामांकन पत्र दाखिल करने की अंतिम तिथि 4 अप्रैल है। नामांकन पत्रों की स्क्रूटनी 5 अप्रैल को की जाएगी। प्रत्याशी 8 अप्रैल तक अपने नाम वापस ले सकेंगे। मतदान 26 अप्रैल को होगा। 

7 मई को इन आठ सीटों पर

तीसरे चरण में आठ लोकसभा संसदीय क्षेत्रों मुरैना, भिंड, ग्वालियर, गुना, सागर, विदिशा, भोपाल एवं राजगढ़ में 7 मई 2024 को मतदान होगा। इस चरण के लिए अधिसूचना 12 अप्रैल को जारी होगी। प्रत्याशी 19 अप्रैल तक नामांकन पत्र जमा कर सकेंगे। 20 अप्रैल को नामांकन पत्रों की स्क्रूटनी की जाएगी। प्रत्याशी 22 अप्रैल तक अपने नाम वापस ले सकेंगे। मतदान 7 मई को होगा। 

चौथा व अंतिम चरण 13 मई को इन सीटों

प्रदेश में मतदान के चौथे व अंतिम चरण में आठ लोकसभा क्षेत्रों देवास, उज्जैन, मंदसौर, रतलाम, धार, इंदौर, खरगोन एवं खंडवा में 13 मई को मतदान होगा। इस चरण के लिए अधिसूचना 18 अप्रैल को जारी होगी। प्रत्याशी 25 अप्रैल तक नामांकन पत्र जमा कर सकेंगे। 26 अप्रैल को नामांकन पत्रों की स्क्रूटनी की जाएगी। प्रत्याशी 29 अप्रैल तक अपने नाम वापस ले सकेंगे। मतदान 13 मई को होगा।

नवनियुक्त चुनाव आयुक्त के पदभार ग्रहण के बाद तुरंत एक्शन मोड, शानिवार को 3 बजे होगी लोकसभा चुनाव की घोषणा

आगामी लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग के द्वारा शनिवार को किया जायेगा। इसके साथ ही कुछ राज्यों में विधानसभा चुनाव की तारीखों का भी ऐलान किया जाएगा। चुनाव आयोग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट के जरिये ये जानकारी दी। चुनाव आयोग प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिये देश में होने वाले आम चुनाव के कार्यक्रम की विस्तृत जानकारी भी देगा।

तारीखों के ऐलान के बाद आचार संहिता लागू

ईसी के शेड्यूल के तहत बताया जाएगा कि लोकसभा चुनाव 2024 और कुछ राज्यों के विधानसभा चुनाव कब, कितने चरणों में होंगे और उनके लिए क्या बंदोबस्त किए जाएंगे। चुनाव की तारीखों के ऐलान के ठीक बाद चुनावी आचार संहिता अमल में आ जाएगी और उसकी वजह से सरकार कोई भी नए नीति या फिर फैसले की घोषणा नहीं कर सकेगी।

निर्वाचन आयोग ने की जानकारी साझा

नवनिुयुक्त चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार और सुखबीर सिंह संधू के साथ मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान करेंगे। शुक्रवार को दोनों नवनियुक्त चुनाव आयुक्त के पदभार ग्रहण करने के बाद निर्वाचन आयोग ने ये जानकारी साझा की है।नोटिफिकेशन में लिखा है कि आम चुनाव 2024 के साथ कुछ राज्यों में विधानसभाओं के कार्यक्रम की भी घोषणा की जाएगी।

शनिवार को 3 बजे होने वाली ईसीआई की प्रेस कॉन्फ्रेंस को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लाइवस्ट्रीम किया जा सकेगा। अनूप चंद्र पांडे के 14 फरवरी को सेवानिवृत्त होने और 8 मार्च को अरुण गोयल के अचानक इस्तीफे के बाद से निर्वाचन आयोग में ये पद खाली थे। ज्ञात हो कि गुरुवार को ही प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता वाले चयन पैनल की सिफारिश के बाद विधि एवं न्याय मंत्रालय ने पूर्व आईपीएस ज्ञानेश कुमार और पूर्व आईपीएस सुखबीर संधू को निर्वाचन आयुक्त नियुक्त करने की अधिसूचना जारी की थी। आज सुबह दोनों पूर्व आईएएस ने चुनाव आयुक्त का पदभार ग्रहण किया है।

बीजेपी का गढ़ है विदिशा लोकसभा सीट, शिवराज के अलावा अटल बिहारी वाजपेयी, सुषमा स्वराज और शिवराज सिंह चौहान पहले भी उतार चुके हैं

Election 2024: लोकसभा चुनावों (Loksabha Election) की सरगर्मी BJP की पहली लिस्ट आने के बाद से तेज हो गई है, हाल में ही पार्टी ने 195 की प्रत्याशियों की सूची जारी की। जिसमें मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह को विदिशा से भाजपा ने प्रत्याशी बनाया है। 60 के दशक से ही विदिशा जनसंघ और बाद में बीजेपी के गठन से ही गढ़ रहा है।

शिवराज को लेकर सारे कयास विफल रहे

मुख्यमंत्री पद छोड़ने के बाद से ही मीडिया जगत में कयास लगाए जा रहे थे कि उन्हें केंद्रीय मंत्री मंडल में जगह मिलेगी पर ऐसा हुआ नहीं, वहीं शिवराज ने विधानसभा के बाद से 29 कमल के फूलों की माला प्रधानमंत्री मोदी को पहनाएंगे ऐसा नारा दिया था। 2019 में प्रदेश की 29 में से 28 सीट बीजेपी के खाते में गई थी, एक छिंदवाड़ा लोकसभा पर कांग्रेस विजय हुई थी। छिंदवाड़ा के दौरे से लग रहा था कि शिवराज को इस बार छिंदवाड़ा से प्रत्याशी बनाएगी पर ऐसा हुआ नहीं।

अटल, सुषमा जैसे दिग्गजों ने किया है प्रतिनिधित्व

1967 में पहली बार चुनाव हुए थे तब भी जनसंघ के प्रत्याशी पंडित शिव शर्मा की जीत हुई थी। 1991 में अटल जी ने भी विदिशा से चुनाव लड़ा ओर जीते थे, वहीं पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने 2009 ओर 2014 में जीत दर्ज की थी। पाँच बार रह चुके सांसद शिवराज सिंह चौहान सूबे के बागडोर सम्भालने से पहले विदिशा लोकसभा से ही चुन कर सदन में पहुँचे थे। वे इस सीट पर 1991 के उपचुनाव में पहली बार जीतकर आए थे उसके बाद लगातार अटल जी के 96, 98, 99, 2004 तक इसी सीट से सांसद रहे हैं, और एक बार फिर पार्टी ने उन्हें इसी सीट से मौका दिया है।